मुझे उस कोरे कागज को, इस तरह देखना गवारा न था….. Campus March 23, 2025 निवेदिता श्रीवास्तव “गार्गी”. कोरा कागज उस कोरे कागज पर , अपने मन की अभिव्यक्ति लिखती रही , कभी उसने पढ़ी…
सच है क्या आना तुम्हारा, तुम ऐसे ही आते हो हर बार, जश्न के नाम पर एक त्रासदी लेकर : वरुण प्रभात Campus March 17, 2024 जमशेदपुर. जनवादी लेखक संघ सिंहभूम का होली मिलन सह काव्य गोष्ठी रिवेट कॉलोनी डिमना में अशोक शुशदर्शी और डॉ लक्ष्मण…